सात जन्मों का बंधन महीनो का रिश्ता

June 20, 2019
प्रस्तुति- मन्जु सीरवी c/o माताजी इलेक्ट्रिकल एण्ड हार्डवेअर, नम्बर -72 होसा रोड़, सी. के नगर, बैगंलुर "शादी, सात फेरे" यानि सात जन्मों का पवित्र बन्धन कहते हैं,सात फेरे खाने के बाद दो इंसान अगल सात जन्मों के लिए एक दूसरे के हो जाते हैं।उन्हें कोई अलग नहीं कर सकता,भगवान की मर्जी भी इसमें शामिल होती…

सीरवी समाज मे शादी समारोह मे बढते खर्चे और व्यर्थ होता भोजन बहुत ही चिन्ता का विषय समाज को इस पर गम्भीरता से मंथन करना होगा

May 15, 2019
शादी विवाह में बढ़ते हुए दिखावे पर होने वाली पैसे की बर्बादी से अधिकांश लोग परेशान हैं। और इन कुरीतियों को खत्म करना चाहते हैं पर लोग क्या कहेंगे यह सोचकर इस चक्रव्यूह से बाहर नहीं निकल पा रहे हैं l इस दिखावे के चक्कर में कुछ लोगों को न चाहते हुए भी अपनी हैसियत…

मेहमानों को भोजन जीमाना या रखना । सोचे संस्कारित क्या है ? 

April 2, 2019
आज समाज में कुछ बन्धुओं द्वारा अपनी आर्थिक स्थिति उजागर करने की नियति से समाज मेंं एक नई परंपरा लागू करने का प्रयास चल रहा है। जिसे स्वरुचि भोज यानि " बफर्ट्स " नाम से जाना जाता है। बफर्ट्स नामक इस भोज व्यवस्था के लिए आयोजन कर्ता अपने मेहमानों को सेवा नहीं देता,बल्कि मंच पर…

चाणक्य नीति के अनुसार भोजन और धन, जितना है, उसी में संतोष कर लेना चाहिए

March 27, 2019
जीवन में अधिकांश परेशानियों की वजह है असंतोष जो वस्तुएं या सुख सुविधाएं हमें प्राप्त होती है, हमें उनसे ही संतुष्ट रहना चाहिए | अगर असंतोष बना रहेगा तो दुख और परेशानियां का जन्म होता है | अचार्य चाणक्य ने तीन ऐसी परिस्थितियां बताइए हैं, जिसमें व्यक्ति को संतोष करना चाहिए | चाणक्य नीति के…

अगर हम युवा पिढ़ी सुधारने की कोशिश करे तो सीरवी समाज के मुकाबले और कोई समाज नही हो सकती।

मेरे प्रिय सीरवी बंधुओ हमे बहुत ही गर्व है की हमारी समाज आज आईजी की कृपा से बहुत ही अच्छे मुकाम पर है। पर समाज मे कुछ कमियों की वजह से हमे और समाज के आगे शर्मिंदा होना पड़ता है। इन छोटी छोटी कमियों को अगर हम युवा पिढ़ी सुधारने की कोशिश करे तो सीरवी…

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